Friday, 18 January 2013

" शिक्षा वाचन से नहीं, ज्ञानियों के संपर्क से अधिक परिणामकारी "


FRIDAY, 18 JANUARY 2013

" शिक्षा वाचन से नहीं, 


" ज्ञानियों के संपर्क से अधिक परिणामकारी "


-----------  चंद्रकांत वाजपेयी.  --------------



आदर्श को सामने रखकर हज़ार बार 


आगे बढनें का प्रयत्न करो. 


यदि हज़ार बार भी असफल होते हो, 


तो भी उठो एकबार फिर प्रयत्न करो. 


------------ स्वामी विवेकानंद

            

बुरहानपुर में स्वामी विवेकानंद पुस्तक मेले का उदघाटन म.प्र. की शालेय शिक्षा मंत्री  
श्रीमती अर्चना चिटनीस के करकमलो द्वारा संपन्न. उस अवसर पर ली  गयी तस्वीरे । 

18 - 01 - 2013. 

" शिक्षा वाचन से नहीं, 

"  ज्ञानीयो के संपर्क से अधिक परिणामकारी.  "

                 
 स्वामी विवेकानंद जी के जीवन परिचय की पुस्तकों का मेला और 

उक्त मेले का उदघाटन निश्चित ही आवश्यक और सराहनीय कार्य है। 
                          
 क्या वर्त्तमान में भारत में उपलब्ध देश के आदर्श व प्रेरक महान 

विभूतियों जैसे सच्चे राष्ट्रभक्त, निर्भीक-बहादुर व्यक्ति, पूर्णत: प्रामाणिक 

भ्रष्ट्राचारमुक्त चरित्र के व्यक्ति, देश के सर्वोच्च स्तर के विभिन्न खेलों, 

कला संस्कृति तथा विज्ञान विषयों के पुरस्कृत - ज्ञाता महानुभाव आदि 

की कृति और उनकी निजी उपलब्धता वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग / विद्यार्थियों 

के साथ वार्तालाप इत्यादि क्रमश: सभी विद्यालयों के छात्रों के साथ 

रवानें का वार्षिक कार्यक्रम म.प्र. की शालेय शिक्षामंत्री श्रीमती अर्चना 

चिटनीस निर्धारित कराएंगी और इसे पाठ्यक्रम का एक अंग बनाएंगी ? 

अनुभव के आधार पर इन पंक्तियों के लेखक का स्पष्ट मानना है कि इस 

नई व्यवस्था के कारण विद्यार्थियों के मध्य स्थापित भ्रम समाप्त होगा 

कि भारतीय व्यक्तियों के चरित्र अथवा कार्यों को याद करना केवल 

परीक्षा में अंक प्राप्त करने के लिए होता है। इसी प्रकार ये आदर्श चरित्र 

काल्पनिक और पुस्तकीय साहित्य नहीं है अपितु एक जिवंत सच्चाई है, 

यह भाव जागृत होकर उनका अनुकरण करनें का व्यहहार दृढ़ होगा | 

ध्यान रहे की इस प्रकार के व्यवहार की स्थापनाही सच्ची शिक्षा होती है।


क्या मेरे इस राष्ट्रहित भरे और सच्ची शिक्षा के अर्थ को 

आदरणीय 

शिक्षामंत्री तवज्जो देंगी ?  


क्या पाठक मेरे उक्त विचार का समर्थन करेंगे ?


विश्वास करता हूँ कि इस छोटे से 

लेख 
की  गंभीरता और  गहराई को 
समझा जावेगा।


............................ चंद्रकांत वाजपेयी.  जेष्ठ नागरिक एवं सामाजिक कार्यकर्ता, 

  
Email :-- chandrakantvjp@gmail.com +91 9730500506.

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